तुफान की राजस्थान में एंट्री
जयपुर
अरब सागर में बने चक्रवात बिपरजॉय की रात 10 बजे के करीब राजस्थान में एंट्री हो गई। बाड़मेर से लगते भारत-पाक बॉर्डर के पास रण क्षेत्र जो गुजरात और पाकिस्तान से लगता वहां से प्रवेश किया। शुरुआती दौर में पश्चिमी राजस्थान के बाड़मेर, सिरोही, पाली, जैसलमेर, जोधपुर और जालोर में मौसम बदला। आंधी के साथ बारिश का दौर शुरू हो गया। तूफान के असर को देखते हुए जोधपुर यूनिवर्सिटी की 16 और 17 जून को होने वाली परीक्षाएं स्थगित कर दी।
आपदा विभाग की ओर से 24 घंटे में तूफान से जयपुर, टोंक, बूंदी, अजमेर, भीलवाड़ा जिलों और आसपास क्षेत्र में तेज बारिश के साथ आकाशीय बिजली गिरने की आशंका है। विभाग ने 60 किमी की रफ्तार से आंधी चलने की भी संभावना व्यक्त की है।
जालोर जिले के सांचौर में 3 बजे बाद अचानक हवा चलने लगी। वहीं बाड़मेर के ग्रामीण क्षेत्रों में भी हवा के साथ बारिश का दौर शुरू हुआ। जैसलमेर के भी भणियाणा के झाबरा गांव में हल्की बारिश शुरू हुई।
गुजरात बॉर्डर से सटे सांचौर के डूंगरी गांव में सबसे पहले इसका असर देखने को मिला। इसके अलावा आस-पास के करीब 36 गांवों में हल्की बारिश भी हो रही है। सांचौर में दो दिन बाजार बंद रहेंगे। वहीं बाड़मेर के गुड़ामालानी और इसके आस-पास इलाकों में बारिश का दौर शुरू हो चुका है।
शाम होते-होते इसका असर पाली और सिरोही भी जिलों में देखने को मिला। पाली के सुमेरपुर, तखतगढ़ और सिरोही शहर समेत माउंट आबू में तेज हवा के साथ बारिश हुई।
चक्रवात को देखते हुए माउंट आबू में कार्यवाहक मजिस्ट्रेट डॉ.शुभमंगला ने दो दिन तक माउंट के सभी इंग्लिश मीडियम स्कूल में छुट्टी घोषित कर दी है। गौरतलब है कि यहां गर्मियों की छुटि्टयां नहींं होती है। ऐसे में स्कूल के लिए एडवाइजरी जारी की गई है। इसके साथ ही नक्की लेक में भी दो दिन तक बोटिंग पर रोक लगा दी है।
तूफान को देखते हुए दो दिन विश्व विख्यात पर्यटन स्थल रणकपुर जैन मंदिर बंद रहेगा। मंदिर प्रबंधक जसराज माली ने बताया कि प्रशासन के निर्देश पर पर्यटकों के लिए 16-17 जून को मंदिर बंद रहेगा।
झालरापाटन की हरिश्चंद्र कृषि उपज मंडी में 2 दिन कारोबार बंद रहेगा। खाद्य एवं तिलहन व्यापार संघ सचिव विजय मूंदड़ा हरि राठौर ने बताया कि राज्य सरकार और जिला प्रशासन की सूचना पर 16-17 जून को मंडी बंद रहेगी।
बाड़मेर-जोधपुर ट्रेन रद्द, जैसलमेर में 100 परिवार शिफ्ट
चक्रवात के चलते बाड़मेर-जोधपुर पैसेंजर ट्रेन को 16 और 17 जून के लिए कैंसिल कर दिया गया है। वहीं देर शाम बाद जैसलमेर में भी बारिश का असर दिखना शुरू हो गया था। यहां शुक्रवार को ऑरेंज अलर्ट है। इसी को देखते हुए प्रशासन डाबला गांव पहुंचा और यहां निचली बस्तियों के इलाके को खाली करवाया।
तहसीलदार निर्भाराम कोडेचा ने बताया कि डाबला गांव में 100 परिवारों के करीब 450 सदस्य है। इन्हें शिफ्ट करने की तैयारी शुरू कर दी है। इन सभी को जिले के ग्राम पंचायत और स्कूल बिल्डिंग में शिफ्ट किया जाएगा।
इधर, जोधपुर के आस-पास ग्रामीण इलाकों में भी इसका असर दिखना शुरू हो गया। लूणी में देर शाम तेज हवाओं के साथ बारिश का दौर चला।
इससे पहले पश्चिमी राजस्थान के अलग-अलग जिला प्रशासन की ओर से बिपरजॉय को लेकर अलर्ट जारी कर दिया गया था। उदयपुर में भी तूफान का असर नजर आया और आंधी-बारिश हुई।
बुधवार को सीएस ने ली थी रिव्यू बैठक
इधर, बुधवार शाम को सचिवालय में मुख्य सचिव ने प्रदेश के सभी कलेक्टर्स के साथ बैठक कर तैयारियों को लेकर रिव्यू किया गया। बताया जा रहा है कि इसका सबसे ज्यादा असर जोधपुर संभाग में दिखेगा।
यहां भारी से अति भारी बारिश (200MM या उससे ज्यादा) की चेतावनी को देखते हुए प्रशासन अलर्ट पर है। राहत और बचाव के लिए SDRF, NDRF की 9 कंपनियां अलग-अलग जिलों में तैनात की गई हैं।
इधर, गुरुवार देर शाम आपदा विभाग ने अलर्ट मैसेज जारी कर जयपुर, टोंक, बूंदी, अजमेर और भीलवाड़ा समेत आस-पास के इलाकों में आकाशीय बिजली गिरने और 40 से 60 किमी की स्पीड से हवा चलने का अलर्ट जारी किया है।
बाड़मेर में बिपरजॉय का सबसे अधिक खतरा बताया है। सुबह से ही यहां पर तेज हवा चलने के साथ बादल छा रहे थे। दोपहर बाद वहां तूफान का असर दिखाई दिया।
इसके अलावा बाड़मेर-जालोर जिले, जहां भारी बारिश का अलर्ट है, वहां निचले जलभराव वाले इलाकों से लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाने के निर्देश दिए गए हैं।
इस बीच, चेतावनी वाले जिलों में सरकार ने तीन दिन (16 से 18 जून) तक एडवेंचर एक्टिविटी और टूरिस्ट ट्रिप के साथ महंगाई राहत कैंप पर रोक लगा दी है।
जैसलमेर में मनरेगा श्रमिकों को भी 16 और 17 जून को छुट्टी पर रहने के आदेश दिए गए हैं। देर रात मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने भी अधिकारियों संग हाई लेवल मीटिंग करके तूफान-बारिश से आने वाली आपदा से निपटने के लिए की गई तैयारियों की समीक्षा की।