निंबाहेड़ा नगर में कल्याण महाकुंभ के द्वितीय दिवस
निंबाहेड़ा (ललित जैन) नगर में कल्याण महाकुंभ के द्वितीय दिवस गौसंवर्धन के महत्व को प्रतिपादित करने के लिए वेदपीठ को बालकृष्ण के ज्ञानार्जन के संदीपनी आश्रम का स्वरूप सैकड़ों के भक्तों के लिए विशेष आकर्षण का केन्द्र रहा, जहां ठाकुर जी की पिछवाई से लेकर, समूचे गर्भगृह में एवं झांकी के रूप में भी गुरू आश्रम की तरह घास फूस से पारंपरिक सजावट की गई। झांकी में गोबर, गौमूत्र, गौचरण रज के साथ ही पारंपरिक पीली मिट्टी का प्रयोग कर पौराणिक परंपरा को जीवंत करने का अनुकरणीय प्रयास किया गया। इतना ही नहीं बालकृष्ण के स्वरूप को बैलगाड़ी में विराजित कर आश्रम की परंपरा का निर्वहन बताते हुए 125 प्रकार के सूखी खाद्य सामग्री के साथ ही भोजन बनाने के सभी आवश्यक पात्र एवं समस्त सामग्रियों को मिट्टी के पावन कलशों में सजाकर लगाया गया छप्पन भोग की झांकी देखते ही बनती थी। ठाकुर जी का श्रंगार भी पारंपरिक स्वरूप में ही किया गया था। प्रात: मंगला दर्शन उपरान्त ठाकुर जी सहित पंच देवों का 21 द्रव्यों से महारूद्राभिषेक किया गया। भजन संध्या की श्रृंखला में सोमवार रात्रि को प्रसिद्ध भवाई कलाकार लक्ष्मीनारायण रावल के दल द्वारा रात्रि 9 बजे से मनभावन भजनों की प्रस्तुतियां दी जाएगी।